Sunday, January 15, 2012


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14 Jan 2012, NewAgeIslam.Com
उलमा के लिए एक वाज़ेह याददहानीः आलमगीर इल्म को गैरइस्लामी कह कर खारिज करना कुफ्र है

मोहम्मद यूनुस, न्यु एज इस्लाम डाट काम (अंग्रेज़ी से अनुवाद- समीउर रहमान, न्यु एज इस्लाम डाट काम)

(सहलेखक) इस्लाम का असल पैगाम, आमना पब्लिकेशन, यूएसए, 2009

रहमतें हैं तेरी अग़्यार के काशानों पर

बर्क़ गिरती है तो बेचारे मुसलमानों पर - अल्लामा इक़बाल

हकीकत ये है कि साईंसी उलूम कुरान के मुख्तलिफ साईंसी इशारों को समझने की कुंजी है और कुदरती वसाएल को अपने लिए इस्तेमाल के लिए कुरान के ज़रिए बताये गये ज़रूरी आलात हैं। मिसाल के तौर पर इस तरह हम कुरान की मज़हरे कुदरत जैसे आस्मानी जुज़ों की नकल व हरकत, हमल में इसानी जनीन की नशोनुमा, समंदर की गहराई में तारीकी, और नमकीन व मीठे पानी के बीच पर्दा को बताने वाली आयात बगैर इल्म तिब्बियात (फिज़िकल साइंसेज़) के नहीं समझ सकेंगे। -- मोहम्मद यूनुस, न्यु एज इस्लाम डाट काम (अंग्रेज़ी से अनुवाद- समीउर रहमान, न्यु एज इस्लाम डाट काम)

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