Friday, October 7, 2011

Hindi Section
07 Oct 2011, NewAgeIslam.Com
नाकामी से कामयाबी को निचोड़ लीजिए

मोहम्मद आसिफ रियाज़ (उर्दू से अनुवाद-समीउर रहमान, न्यु एज इस्लाम डाट काम)

पैग़म्बरे इस्लाम मोहम्मद (स.अ.व.) के गुणों का ज़िक्र करते हुए ई.ई. केलिट ने लिखा है।

वास्तव में यहाँ की कोई नाकामी इतनी ताकतवर नहीं कि वो कामयाबी का रास्ता बंद कर दे। यहाँ की कोई बुराई इतनी मज़बूत नहीं कि वो भलाई की सभी सम्भावनाओं को समाप्त कर दे। यहाँ हर बुराई में भलाई छिपी हुई है और हर नाकामी में कामयाबी रखी है। ये आदमी की चेतना पर है कि वो चीज़ों को किसी तरह देखता है। वो आवाज़ को दरवाज़ा बंद होने की आवाज़ समझता है या दरवाज़े के खुलने की आवाज़ समझता है। --मोहम्मद आसिफ रियाज़ (उर्दू से अनुवाद-समीउर रहमान, न्यु एज इस्लाम डाट काम)

http://newageislam.com/NewAgeIslamHindiSection_1.aspx?ArticleID=5640


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